Tag: deshbhakti poems in hindi
#60 कोरोना से क्या सीखे हम ?
- May 02, 2020
जब से जग में कोरोना महामारी आई, सारे जग में खूब तबाही मचाई, जन जन त्रस्त घरों में कैद, कोरोना वारियर्स लडने को मुस्तैद, हर हाल जन जन लड रहा है, रह दूर अपने नित्य जीवन से, अपने घरों में रह रहा है । सल्यूट कोरोना वारियर्स को, तज घर परिवार ड्यूटी अपनी कर रहे […]
Read More#42-हैलो!
- Sep 10, 2019
हैलो हैलो कह कर के,दुनिया में सबसे पिछे थे,अब बोलो बोलो कह कर के, दुनिया को पीछे छोड रहे ।बन बुधिया कभी मिल्खा, कभी सचिन रिकार्ड तोड रहे,कभी बन कर के देश भक्त, देश द्रोही को हम फोड रहे । जय माहिस्मति जय माहिस्मती हर ओर अब हम बोल रहै,महिन्दर और अमरिन्दर भल्लाल से आगे […]
Read More#6-क्या मुझे हक़ नहीं?
- Mar 07, 2017
ज़िन्दगी के पहलू क्यूँ इतने उलझे से लगते है? क्या चेताती आसमान से गिरती वो आग कश्मीर में, क्यों आखिर किसी हुद – हुद का डर यूँ सता रहा है, क्या मुझे चैन से सांस लेने का हक़ नहीं? मैं फैली हूँ उत्तर में कश्मीर से दक्षिण में कन्याकुमारी तक, समेटें हैं मैंने विविध रंग अपने आगोश […]
Read More#4-क्या-हम-आजाद-हैं
- Feb 27, 2017
Are we Independent: kya ham aazad hai देश हुआ आजाद aazad हुए अब, हो गए हैं दिन इतने, जो सच पूछो तो दिल से बोलो, आजाद रहे तुम दिन कितने, पहले था अंग्रेज का शासन, कर लगता था जीवन पर भी, अब देखो रजनीति का दलदल, जिसने भी तो हद कर दी, वो जो थे […]
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